मन्त्रों और मन्त्रों के प्रभाव के विषय में कुछ विशेष जानें ।। Mantron Ke Kuchh Vishesh Prabhav.
जय श्रीमन्नारायण,
मंत्र महामनि बिषय ब्याल के । मेटत कठिन कुअंक भाल के ।।
मित्रों, गोस्वामी जी कहते हैं, विषय रूपी साँप का जहर उतारने के लिए अर्थात बड़े-से-बड़े दुखों को दूर करने के लिये वेद मन्त्र वो महामणि हैं । जो ललाट पर लिखे हुए कठिनता से मिटने वाले बुरे लेखों अर्थात मंद प्रारब्ध या दुर्भाग्य को मिटा देते हैं ।।
मन्त्रों में अनेक शक्ति के स्रोत दबे होते हैं । जिस प्रकार अमुक स्वर-विन्यास से युक्त शब्दों की रचना करने से अनेक राग-रागनियाँ बजती हैं और उनका प्रभाव सुनने वालों पर विभिन्न प्रकार का होता है ।।
ठीक उसी प्रकार मंत्रोच्चारण से भी एक विशिष्ट प्रकार की ध्वनि तरंगें निकलती हैं और उनका भारी प्रभाव विश्वव्यापी प्रकृति पर, सूक्ष्म जगत् पर तथा प्राणियों के स्थूल तथा सूक्ष्म शरीरों पर पड़ता है ।।
ठीक उसी प्रकार मंत्रोच्चारण से भी एक विशिष्ट प्रकार की ध्वनि तरंगें निकलती हैं और उनका भारी प्रभाव विश्वव्यापी प्रकृति पर, सूक्ष्म जगत् पर तथा प्राणियों के स्थूल तथा सूक्ष्म शरीरों पर पड़ता है ।।
मित्रों, मन्त्रोचार में अतुलनीय शक्ति होती है यहाँ तक की आप अपनी मनोकामनाओं को भी मन्त्र जप के माध्यम से पूर्ण कर सकते हैं । आप जो चाहें आपको सहज ही प्राप्त हो सकता है इसमें कोई संसय नहीं है । आवश्यकता है सिर्फ अपने इष्ट अपने रामजी पर भरोसा रखने की ।।
मोरि सुधारिहि सो सब भाँती। जासु कृपा नहिं कृपाँ अघाती।।
मोरि सुधारिहि सो सब भाँती। जासु कृपा नहिं कृपाँ अघाती।।
जैसे गोस्वामी जी कहते हैं, कि श्री रामजी मेरी सब बिगड़ी सब तरह से सुधार लेंगे, जिनकी कृपा करने से उनकी कृपा भी नहीं अघाती । गोस्वामी जी की तरह आप भी कल्पना करें, कि मेरे प्रभु राम जैसा उत्तम स्वामी और मेरे जैसा बुरा सेवक !
इसके बाद भी उन दयानिधि ने अपनी ओर देखकर मेरा सब प्रकार से पालन ही किया है ।।
इसके बाद भी उन दयानिधि ने अपनी ओर देखकर मेरा सब प्रकार से पालन ही किया है ।।
।। सदा सत्संग करें । सदाचारी और शाकाहारी बनें ।।
।। सभी जीवों की रक्षा करें ।।
।। नारायण सभी का नित्य कल्याण करें ।।
।। नमों नारायण ।।
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